दो कमरों में कॉलेज को चलाने के आरोप के साथ अनियमितता को लेकर सौंपा ज्ञापन
महाकौशल लॉ स्टूडेंट एसोसिएशन ने लगाए गम्भीर आरोप
◆ विलोक पाठक
न्यूज़ इन्वेस्टिगेशन/ महाकौशल लॉ स्टूडेंट एसोसिएशन ने रानी दुर्गावती विश्विद्यालय से संबद्ध सेंट्रल इंडिया लॉ कॉलेज की मान्यता की जांच करने एवं रानी दुर्गावती विश्वविद्यालय कुलसचिव कुलपति द्वारा माप दंड पूर्ण किए बिना महाविद्यालय को संचालित करने की अनुमति देने के विरोध में कुलपति के नाम परीक्षा नियंत्रण को ज्ञापन सौंपा।
एसोसिशन के अध्यक्ष अंकुश चौधरी ने जानकारी देते हुए बताया कि रानी दुर्गावती विश्वविद्यालय से मान्यता प्राप्त सेंट्रल इंडिया लॉ कॉलेज संचालित किया जा रहा है। जो सिर्फ दो कमरे में संचालित हो रहा है। सत्र 2023-24 से हायर एजुकेशन द्वारा इसमें एडमिशन के लिए रोक लगा दी गई है, किंतु सत्र 2021 का बैच अभी तक यही से संचालित किया जा रहा है। जब महाविद्यालय संचालित करने वाले नियमो का पालन करने में असमर्थ है तो विश्विद्यालय ऐसे महाविद्यालय को किसकी शह पर संचालित करवा रहा है। सत्र 2021 बैच के छात्र सत्र मई जून 2024 की परीक्षा उसी महाविद्यालय से दे रहे है, जिनके भविष्य के साथ खिलवाड़ किया जा रहा है। महज दो कमरे में चलने वाले कॉलेज में न टीचरों का पता है ना अन्य स्टाफ का इतना ही नहीं इसमे न फर्नीचर, न वाश रूम, और न ही अन्य सुविधाऐ हैं। विगत 20 सालो से संचालित किया जा रहा यह कॉलेज छात्रों के भविष्य के साथ खिलवाड़ कर रहा है। एसोसिएशन का आरोप है कि रानी दुर्गावती विश्वविद्यालय अनुचित तरीके से इनको मान्यता देकर संचालित करा रहा है। इसमे अध्ययन रत छात्रों का यदि रजिस्ट्रेशन स्टेट बार काउंसिल में नहीं होता है तो इसकी जवाबदारी कौन लेगा। एडमिशन एंड फीस रेगुलेटरी कमीशन मध्य प्रदेश की सूची में भी इनका नाम नही है, तो यह कॉलेज कैसे फीस वसूल रहा है। ऐसे कॉलेज को मान्यता देने वाले विश्विद्यालय के उन अधिकारियों के ऊपर सख्त करवाई की मांग की गई है। एशोसिएशन ने ज्ञापन के साथ साक्ष्य भी दिए हैं।
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