बाबरी विध्वंस मामले में 30 सितंबर तक आडवाणी, जोशी और उमा पर फैसला सुनायें, सुप्रीम कोर्ट ने सीबीआई कोर्ट से कहा
नयी दिल्ली : सुप्रीम कोर्ट ने आज सीबीआई ट्रॉयल कोर्ट को बाबरी विध्वंस मामले में भाजपा नेता लालकृष्ण आडवाणी, मुरली मनोहर जोशी और उमा भारती के खिलाफ लगे आरोपों पर 30 सितंबर तक फैसला सुनाने का आदेश दिया है. सुप्रीम कोर्ट ने सीबीआई ट्रॉयल कोर्ट को फैसला सुनाने के लिए एक महीने से ज्यादा का समय दिया है. इस मामले की सुनवाई लखनऊ में हो रही है. बाबरी विध्वंस मामले में लालकृष्ण आडवाणी, मुरली मनोहर जोशी और उमा भारती के खिलाफ भीड़ को भड़काने के आरोप लगे हैं.
बाबरी विध्वंस मामले में जुलाई महीने में भाजपा के वरिष्ठ नेता लालकृष्ण आडवाणी ने वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिये अपना बयान दर्ज करवाया था. इस मौके पर उन्होंने उन सभी आरोपों को भी खारिज किया था जो इस मामले में उनपर लगाये गये हैं. इस मामले में खुद को निर्दोष बताते हुए आडवाणी ने कहा था कि उन पर लगाए गए आरोप राजनीति से प्रेरित हैं. इस मामले में मुरली मनोहर जोशी और उमा भारती भी अपना बयान दर्ज करा चुके हैं और खुद को निर्दोष भी बता चुके हैं. ज्ञात हो कि 6 दिसंबर 1992 को बाबरी विध्वंस की घटना हुई थी.